Jabalpur News: यहां झोपड़ी में होती थी पूजा, पंजाबी समाज ने बना दिया रामलला का भव्य मंदिर
Jabalpur News: मदनमहल क्षेत्र में करीब 55 वर्ष पहले एक झोपड़ीनुमा कमरे में रखे भगवान श्रीराम के चित्र का क्षेत्रीय लोग पूजन करते थे। इलाके में पंजाबी हिन्दू समुदाय की बहुलता है। पंजाबी भाषी समुदाय के लोगों से अपने प्रभु राम की यह दशा नहीं देखी गई। सब ने मिलजुल कर योजना बनाई। किसी ने जमीन दान में दी, तो किसी ने रुपयों की व्यवस्था कर दी।
आननफानन में रामलला का भव्य मंदिर तैयार हो गया। जयपुर से संगमरमर की प्रतिमा मंगाकर प्राणप्रतिष्ठा कराई गई। तब से अब तक हर दिन इस राममंदिर के प्रति लोगों की आस्था बढ़ते ही जा रही है। शहर के धार्मिक आयोजनों में आज इस मंदिर का अग्रगण्य स्थान है।
श्रीराम प्रकटोत्सव व जन्माष्टमी पर यह मंदिर बरसों से शहर में निकाली जाने वाली शोभायात्राओं की अगुवाई कर रहा है। मन्दिर में साल भर धार्मिक आयोजन होते रहते हैं। आषाढ़ माह में यहां भगवान विष्णु की विशेष आराधना, पूजा की जा रही है।
राम मंदिर की नींव रखने वालों में स्थानीय पंजाबी व्यापारियों का दल शामिल था। मन्दिर समिति के अध्यक्ष गुलशन मखीजा ने बताया कि मन्दिर की स्थापना के बाद धर्मवीर गुलाटी, रामेश्वर दास अग्रवाल, रामप्रकाश मरवाहा, डॉ एजी गुलाटी, प्रकाश गुलाटी, नरेश कौशल, नन्दलाल मखीजा ने वर्षों तक सेवा की। महिलाओं में विद्यादेवी मल्होत्रा, सीता नारंग के नाम उल्लेखनीय हैं।
मन्दिर में पूजन, धार्मिक आयोजन के अलावा सामाजिक कार्य भी होते हैं। अध्यक्ष मखीजा के अनुसार समय-समय पर स्वास्थ्य शिविर लगवाए जाते हैं। गरीब कन्याओं के विवाह में मदद की जाती है। नाममात्र के शुल्क पर गरीब परिवारों को विवाह के लिए मन्दिर का हॉल व मैदान उपलब्ध कराया जाता है। प्रतिभावान विद्यार्थियों व मन्दिर के सेवकों का सम्मान भी मन्दिर समिति करती है।
मन्दिर में साल भर धार्मिक आयोजनों की धूम रहती है। पंजाबी केलेंडर के अनुसार प्रतिमाह पड़ने वाली संगरांद पर यहां विशेष पूजन व रामायण का पाठ होता है।रामनवमी व जन्माष्टमी पर शहर में सनातन धर्म महासभा की ओर से निकाली जाने वाली शोभायात्राओं में मन्दिर की झांकी सबसे पहले रहती है।
शहर के अन्य धार्मिक आयोजनों में भी राम मंदिर की सहभागिता रहती है । तुलसी जयंती पर साध्वी ज्ञानेश्वरी दीदी के सान्निध्य में घरों में सामूहिक रामायण पाठ का संचालन होता है। हर मंगलवार यहां सामूहिक हनुमान चालीसा पाठ होता है।
मन्दिर प्रांगण में पंचपूजा की व्यवस्था की गई है। यहां श्रीराम भगवान के साथ लक्ष्मण, सीता जी, हनुमान जी, शिव जी व परिवार तथा देवी की प्रतिमाएं भी विराजमान है। हर पर्व पर यहां सभी देवी देवताओं के पूजन-अनुष्ठान होते हैं।
राम मन्दिर के प्रति स्थानीय पंजाबी समाज की अनन्य आस्था है। वर्षों से पंजाबी परिवार मन्दिर में सेवा कर रहे हैं। वर्तमान में अध्यक्ष गुलशन मखीजा के साथ मनोज शर्मा, अनिल जग्गी, रमेश शर्मा, योगेश अग्रवाल, प्रवीण गुलाटी, मनोज नारंग, अनिल चंडोक, गीता पांडे, प्रेम गुलाटी, प्रेम अरोरा, सुनीता अरोरा, अनीता अग्रवाल, विद्या अरोरा, देवबाला चौबे मन्दिर की सेवा मे समर्पित हैं।