चर्चित गैंगरेप मामले में आरोपितों के परिजनों ने किया मुख्यालय पर प्रदर्शन

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पीड़िता पर लगाये आरोप, कहा – सात दिनों तक बंधक बनाये जाने की बात सरासर गलत, परिजनों ने अधिकारियों को सौंपे युवती से सम्बंधित साक्ष्य

वाराणसी। जनपद के चर्चित गैंगरेप मामले में फिर एक नया मोड़ आ गया। बताते चले कि लालपुर-पांडेयपुर थाना क्षेत्र की एक छात्रा जो 29 मार्च को घर से निकली और फिर लापता हो गई। इसके बाद चार अप्रैल को वह बदहवासी की हालत में मिली। जहां उसका कहना था कि वह किसी तरह घर पहुंची और परिवारवालों को घटना के सम्बन्ध में जानकारी दिया। जिसके बाद छह अप्रैल को पुलिस ने 12 नामजद और 11 अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत किया।

बता दें कि पिछले दिनों वाराणसी आगमन के दौरान वाराणसी के सांसद व देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने संज्ञान लिया था और नाराजगी जताई थी। जिसके बाद डीसीपी वरूणा जोन चन्द्रकांत मीणा को हटा दिया गया था। वहीं इस मामले में पुलिस ने अब तक 14 लोगों को गिरफ्तार किया है। जबकि इस घटना में लिप्त 23 आरोपित बताये गये हैं। इसी बीच गुरूवार को आरोपियों के परिजनों के द्वारा हाथों में तख्तियां लेकर जिला मुख्यालय पर प्रदर्शन किया गया।

जहां ‘महिला अपराध बना ब्लैकमेल का अड्डा‘ आदि लिखी तख्तियां लेकर पुरूषों के साथ पहुंची महिलाओं ने न्याय की गुहार लगाते हुए पुलिस कमिश्नर मोहित अग्रवाल को ज्ञापन सौंपा। वहीं परिजनों का कहना है कि पीड़िता ने अपने आप को सात दिनों तक बंधक बनाये जाने का जो आरोप लगाया है वह गलत है। उन्होंने पुलिस अधिकारी को इससे सम्बंधित साक्ष्य भी सौंपे है। उनका यह भी कहना है कि पुलिस की एफआईआर गलत है और पीड़िता झूठ बोल रही है। इसके अलावा आरोपितों के परिजनों ने एक दूसरा ज्ञापन जिलाधिकारी कार्यालय पहुंच कर दिया।

इस ज्ञापन को एसडीएम पिनाकमणि द्विवेदी ने लिया। जहां उनके द्वारा मामले की जांच कराकर उचित कार्रवाई करने का आश्वासन दिया गया है। प्रदर्शन में शामिल वरिष्ठ समाजवादी नेता दिलशाद अहमद के साथ ही बनारस व्यापार मण्डल के अध्यक्ष राशिद सिद्दीकी ने कहाकि जो आरोपी हैं उन्हें सख्त सजा मिलनी चाहिये, लेकिन किसी निर्दोषों को फंसाना उचित नही है।

आज हालत यह है कि कई आरोपियों का परिवार घर छोड़कर अन्यत्र चला गया है। समाज में उनका मुंह दिखाना मुश्किल हो गया है। वहीं प्रदर्शन में शामिल महिलाओं ने कहाकि पीड़िता के मामले की भी जांच कराई जानी चाहिए। उन्होंने कहाकि गैंगरेप का मामला काफी चर्चित हो गया है। इस मामले में युवती और उसके परिवारवालों ने पुलिस के सामने अपना पक्ष रख दिया, लेकिन उनके आरोप सही नही है, इसलिए हमलोग भी अपना पक्ष रखने आए हैं।

आगे कहा कि पीड़िता ने अपने को बंधक बनाये जाने की बात कही तो हम लोगों ने सोशल मीडिया एकाउंट और अन्य श्रोतों से छानबीन की तो सच्चाई सामने आई। हम लोगों ने पुलिस अधिकारी के समक्ष युवती की सच्चाई को रखने का प्रयास किया है। पीड़ित युवकों के परिवार की महिलाओं ने कहाकि आरोप झूठे हैं, और पुलिस हम लोगों को परेशान कर रही है। इसकी निष्पक्ष जांच होनी चाहिए।

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